तुम जिंदगी मे आये aur ऐसे छा गये की हम सारी दुनिया भुल के आप मे उलझ बैठे.
क्या पता था..इतना प्यार करने वाला कोई होगा aur हमे इतना खुशी देगा..
बस... आपकी बाते सूनते गये aur खुश होते गये...
पता ही नही चला आपके प्यार भरे बातो की, आपकी, आपके इझहार की आदत कब लग् गयी..
कोई भी आदत लग जाना aur फिर उसे छूडाना मुश्किल ही होता है...
बस वही हो रहा है हमारा..
आपकी आदत सी लग गयी है aur वो छूडाना मुश्किल हो रहा हैं
गलती आपकी नही है...
हमें वो चीजे जो जिंदगी पहले कभी नही मिली थी, वो आपने दी...
लेकीन वो हमेशा तो नही मिल सकती...
हमें सिखना हैं..कैसे आपके बिन जिना...
हमें सिखना हैं...तुम्हारा इंतेजार न करना..
हमें सिखना है.. आपके बिना आपके साथ रहना....
हमें सिखना हैं आपकी आदत न लगना..
हमें सिखना हैं..
No comments:
Post a Comment